डॉक्टर नमाज पढ़ने गए, नर्स की ट्रीटमेंट से मौत:कमरे में बॉडी बंदकर भागे मेडिकल स्टाफ; मरीज की मां बोली; पुलिस बनना चाहता था बेटा

Sep 12, 2025 - 20:30
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डॉक्टर नमाज पढ़ने गए, नर्स की ट्रीटमेंट से मौत:कमरे में बॉडी बंदकर भागे मेडिकल स्टाफ; मरीज की मां बोली; पुलिस बनना चाहता था बेटा
पूर्णिया में शुक्रवार को 9वीं के स्टूडेंट की इलाज के दौरान मौत हो गई। उसे जॉन्डिस था और खून की भी कमी थी। 8 दिन से उसका निजी अस्पताल में इलाज चल रहा था, 9वें दिन मौत हो गई। परिजन ने लापरवाही का आरोप लगाया है। मृतक बनमनखी थाना क्षेत्र गंगेली निवासी गुलटन साह का बेटा आदित्य कुमार (18) है। दो आदित्य मध्य विद्यालय गंगेली में पढ़ता था। पिता गुलटन के अनुसार डॉक्टर मरीज को छोड़कर जुम्मे की नमाज पढ़ने चला गया। इसी बीच नर्सों ने स्लाइन और गलत इंजेक्शन लगा दिया। कुछ ही देर बाद बेटे की तबीयत बिगड़ने लगी। घंटे भर बाद डॉक्टर लौटे, लेकिन बेटे की जान जा चुकी थी। बेटे की मौत के बाद डॉक्टर और मेडिकल स्टाफ ने लाश को कमरे में बंद किया और फरार हो गए। जिसके बाद परिजन ने हंगामा किया। 'मां मोनी देवी ने कहा कि दो ही बेटे हैं। बड़ा बेटा आदित्य कुमार और छोटा बेटा विशाल कुमार। डॉक्टर की लापरवाही ने बड़े बेटे को ही छीन लिया। आदित्य बड़े होकर पुलिस सेवा में जाना चाहता था। उसे वर्दी पहनने का बहुत शौक था।' घटना शहर के फणीश्वरनाथ रेणु टीओपी क्षेत्र के लाइन बाजार स्थित पटना हेल्थ केयर हॉस्पिटल से जुड़ा है। इलाज के नाम पर 2 लाख रुपए भी ले लिए पिता गुलटन साह ने बताया कि 4 सितंबर को जांच में आदित्य जॉन्डिस बीमारी से ग्रसित पाया गया। इसके बाद काझा के एक झोलाछाप दलाल डॉक्टर के कहने पर बेटे को इलाज के लिए लाइन बाजार स्थित पटना हेल्थ केयर हॉस्पिटल में एडमिट कराया। जिस हॉस्पिटल में दलाल और झोलाछाप डॉक्टर ले गए उसके बोर्ड में डॉक्टर का नाम तक नहीं लिखा था। भरोसे पर बेटे को अस्पताल में एडमिट कराया। यहां डॉक्टरों ने बताया कि बेटे को खून की कमी है। जिसके बाद बेहतर इलाज के लिए हॉस्पिटल में एडमिट करा लिया। इलाज के नाम पर 2 लाख रुपए वसूले गए। एडमिट होने के 9वें दिन भी बेटे की तबीयत में कोई खास सुधार नहीं हुआ। बेटे ने कहा था, वो नर्स से इलाज नहीं कराना चाहता था मृतक के पिता ने कहा कि रेगुलर ट्रीटमेंट के लिए नर्स बेटे को लेकर मेडिकल रूम में गई। मगर बेटा उनसे ट्रीटमेंट नहीं कराना चाह रहा था। बेटे की शिकायत थी कि नर्स उन्हें इलाज के दौरान टॉर्चर करती हैं। उन्होंने नर्स से डॉक्टर के बारे में पूछा तो हॉस्पिटल में मौजूद दोनों नर्स ने बताया कि डॉक्टर जुम्मे की नमाज पढ़ने गए हैं। आज वो दोनों ही बेटे का ट्रीटमेंट करेंगी। ये कहकर बेटे को जबरन मेडिकल कक्ष में ले गईं। पहले बेटे को स्लाइन चढ़ाया और फिर दो इंजेक्शन दी। इसके कुछ ही देर बाद बेटे की तबीयत बिगड़ने लगी। आवेदन मिलने के बाद कार्रवाई की जाएगी फणीश्वर रेणु टीओपी की पुलिस ने बताया कि मरीज की मौत पर हंगामे की सूचना मिलते ही थाने से पुलिस मौके पर पहुंची है। परिजनों को आरोपी डॉक्टर के खिलाफ आवेदन देने को कहा गया है। पुलिस मामले की जांच कर रही है।

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